पटना: शिक्षा मंत्री कृष्णनंदन वर्मा और बोर्ड अध्यक्ष आनंद किशोर ने बिहार बोर्ड मैट्रिक का रिजल्ट जारी कर दिया। मैट्रिक की परीक्षा में 68.89 फीसदी छात्र सफल हुए। कुछ 1211617 परीक्षार्थी पास हुए हैं। जिनमें से 667505 छात्र और 544112 छात्राएं हैं। मैट्रिक की परीक्षा में 1769825 विद्यार्थी शामिल हुए थे।
पिछले साल 50.12 फीसदी विद्यार्थी सफल हुए थे। 2017 की तुलना में 2018 में 18.77 फीसदी अधिक स्टूडेंट पास हुए हैं। मैट्रिक की परीक्षा में 189326 स्टूडेंट फर्स्ट, 663884 स्टूडेंट सेकेंड और 357103 स्टूडेंट थर्ड डिवीजन से पास हुए। बिहार बोर्ड 10वीं की परीक्षा में दूसरा स्थान प्राप्त करने वाली शिखा कुमारी आईएएस बनना चाहती हैं।
शिखा को 500 में 456 अंक प्राप्त हुए हैं। उनका कहना है कि आईएएस बनकर देश की सेवा करूंगी। मुझे उम्मीद थी कि मैं टॉप 10 में जरूर जगह बनाऊंगी, लेकिन पूरे बिहार में सेकेंड टॉप आऊंगी इसकी उम्मीद नहीं थी। शिखा का कहना है कि अच्छे मार्क्स लाने में ग्रुप स्टडी बहुत मददगार साबित हुई।
5-6 लड़कियां मिलकर ग्रुप स्टडी करती थी। इससे कॉन्सेप्ट क्लीयर करने में भी बहुत मदद मिलती थी। मैथ्स के सवालों को कई तरीके से हल करने की कोशिश करते थे। समय पर हमारा बहुत फोकस होता था।
कोशिश होती थी कि सारे सवाल तय वक्त से पहले हल लिया जाए। स्कूल के अलावा 7-8 घंटे सेल्फ स्टडी की। शिखा के पिता मृत्युंजय कुमार का कहना है कि बेटी की सफलता से बहुत खुश हूं। बेटी ने मेरा नाम रौशन किया है। बेटी जो भी करना चाहती है हम उसके साथ हैं। शिखा बचपन से ही पढ़ने में अच्छी थी और हमें उम्मीद है वह आगे भी अच्छा करेगी ।
Source: live bihar