नववर्ष के पहले दिन रविवार को शहर की ट्रैफिक व्यवस्था पूरी तरह चरमरा गई। वाहन लेकर नए साल का लुत्फ उठाने निकले लोग जाम में फंस कर प्रशासनिक व्यवस्था को कोषते रहे। खास कर जेपी गंगा पथ और इसके समानांतर दीघा-गांधी मैदान रोड में जाम के कारण वाहनों के पहिये थम गए। इन रास्तों पर जाम का प्रमुख कारण वाहनों की बेतरतीब ढंग से पार्किंग बताई जा रही है।
डाकबंगला, आयकर गोलंबर समेत कुछ प्रमुख चौक-चौराहों को छोड़ बाकी मार्गों में ट्रैफिक पुलिस के जवान भी नदारद रहे। लिहाजा, चालक और सवारियों को वाहनों से उतरकर जाम छुड़ाना पड़ा। जाम के कारण कुछ जगह पर परेशान हो रहे लोगों ने ट्रैफिक एसपी और एसएसपी के विभागीय नंबरों पर काल की, मगर काल नहीं उठा। तब लोगों ने 112 नंबर पर काल की तो स्थानीय थाने से शिकायत करने की बात कही जाती रही।
आसपास के रास्ते भी रहे प्रभावित
दीघा-गांधी मैदान रोड और जेपी गंगा पथ से जुड़े रास्ते भी प्रभावित रहे। बुद्ध मार्ग, छज्जुबाग, मजहरूल हक पथ (फ्रेजर रोड), नेहरू मार्ग (बेली रोड), बोरिंग रोड, अटल पथ समेत अन्य मार्गों पर भी वाहन सरक रहे थे। दोपहर तीन बजे तक माल, संजय गांधी जैविक उद्यान, राजधानी वाटिका जैसे स्थानों पर वाहन पार्क करने के लिए जगह नहीं बची थी। जाम ने नए वर्ष के उमंग को फीका कर दिया। कुछ स्थानों पर स्थानीय पुलिस के वाहन और ट्रैफिक जवान मौजूद भी तो जाम हटाने में लाचार नजर आए।
पैदल सैर-सपाटा करने वालों की भी रही भीड़
गांधी मैदान क्षेत्र और जेपी गंगा पथ पर पैदल सैर-सपाटा करने वालों की भी काफी भीड़ थी। फुटपाथी दुकानदारों ने सड़क पर ठेले-खोमचे लगा लिए थे। पार्किंग पर भी इन दुकानदारों का कब्जा रहा। कंकड़बाग इलाके में अधिक चहलकदमी के कारण साईं मंदिर रोड और मेन रोड में जाम रहा। अशोक नगर निवासी सुनील कुमार और गुरहट्टा निवासी राकेश आनंद ने बताया कि राजेंद्र नगर टर्मिनल से आरएन सिंह मोड़ तक आने में आधे घंटे से अधिक वक्त लगा।
वहीं, उद्योग भवन के पास जाम में अधिवक्ता सुरेश कुमार सिंह ने बताया कि उन्हें एक जरूरी काम से आइजीआइएमएस जाना था। उन्होंने ट्रैफिक एसपी और एसएसपी को काल की, लेकिन कोई जवाब नहीं मिला। डायल 112 पर काल तो रिसीव हुई, मगर समस्या का निराकरण नहीं हो सका। करीब दो घंटे बाद वे गंतव्य तक पहुंचे।