राष्ट्रीय व्हीलचेयर रग्बी चैंपियनशिप में बिहार टीम ने तीसरा स्थान प्राप्त कर ब्रॉन्ज मेडल पर कब्जा जमाया है. बिहार की टीम ने हरियाणा को 23-9 से हराकर ब्रॉन्ज मेडल पर कब्जा जमाया. बिहार के विभिन्न जिले के 8 खिलाड़ी शामिल थे. जिसमें शैलेश कुमार कप्तान (गया), धीरज कुमार (आरा), राजीव कुमार (नवादा), दीपक कुमार और अमित कुमार (छपरा), दीपक शर्मा (सिवान), शनेश्वर कुमार और राहुल कुमार (पटना) के खिलाड़ियों ने इस प्रतियोगिता में भाग लिया था. बता दें कि 5वीं राष्ट्रीय व्हीलचेयर रग्बी चैंपियनशिप 9 सितंबर से 11 सितंबर तक महाराष्ट्र के पुणे में छत्रपति शिवाजी स्टेडियम बालवाड़ी में आयोजित हुआ था.
इस प्रतियोगिता में दिव्यांग खिलाड़ियों ने भाग लिया था. जिसमें गया के रहने वाले शैलेश कुमार भी शामिल हैं. शैलेश बिहार टीम का प्रतिनिधित्व कर रहे थे. बिहार को तीसरा स्थान प्राप्त करने में इनका अहम योगदान रहा है. पुणे में आयोजित नेशनल चैंपियनशिप में बिहार के खिलाड़ियों ने हरियाणा को 23-9 से हराकर ब्रॉन्ज मेडल पर कब्जा जमाया. इस प्रतियोगिता में देशभर से 15 राज्य के टीम ने हिस्सा लिया था.

अगली बार जीतेंगे गोल्ड मेडल
गया के मोहडा प्रखंड क्षेत्र के शिवलाल बीघा गांव के रहने वाले और बिहार व्हीलचेयर रग्बी टीम के कप्तान शैलेश ने लोकल 18 से बात करते हुए बताया कि इस प्रतियोगिता में भाग लेने से पूर्व पाटलिपुत्र स्पोर्ट्स कांप्लेक्स में 21 दिन की ट्रेनिंग दी गई थी. 9 सितंबर से 11 सितंबर तक पुणे में ये प्रतियोगिता आयोजित की गई. जिसमें बिहार टीम को तीसरा स्थान प्राप्त हुआ. हम लोगों की कोशिश थी कि अच्छा प्रदर्शन करेंगे और प्रथम स्थान हासिल कर गोल्ड मेडल पर कब्जा जमाएंगे. लेकिन थोड़ी सी चूक होने के कारण ब्रांज मेडल से संतुष्ट होना पड़ा. उम्मीद है अगली बार और बेहतर प्रदर्शन कर गोल्ड मेडल पर कब्जा जमाएंगे.
बिहार टीम जीत चुकी है सिल्वर मेडल
शैलेश ने बताया कि व्हीलचेयर रग्बी प्रतियोगिता में एक बार में चार खिलाड़ी खेल सकते हैं. अगर कोई खिलाड़ी थक जाता है या चोटिल हो जाता है तो बीच-बीच में खिलाड़ियों को बदला जा सकता है. इन्होंने बताया यह खेल 32 मिनट का होता है जिसे 8-8 मिनट के चार क्वार्टर में बांटा जाता है. इसमें खिलाड़ी व्हीलचेयर को चलाते हुए एक हाथ से बाल लेकर अपनी टीम के दूसरे खिलाड़ी को पास कर लाइन क्रॉस करने के बाद पॉइंट मिलता है. इससे पहले बिहार टीम 2019 और 2022 में इस खेल में सिल्वर मेडल लेकर आ चुकी है. बता दें कि शैलेश रग्बी खिलाड़ी के साथ-साथ एक रेसर भी हैं और व्हीलचेयर रेलिंग करते हैं. इन्होंने 2022 में पुणे में ही रेसिंग में 1500 मीटर में ब्रांज मेडल जीता है. इन्हें तीन बार खेल सम्मान से सम्मानित भी किया जा चुका है. राज्य सरकार के द्वारा एक लाख रुपये की राशि भी दी गई है.