बिहार में भारी बारिश की आशंका, नदियां बह रही खतरे के निशान पार

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बिहार में लगातार बारिश के बीच आने वाले दिनों में भारी बारिश की आशंका है। मानसून बिहार पर अभी मेहरबान बना हुआ है।राज्य के उत्तर-पूर्वी हिस्से में भी अच्छी बारिश होने की उम्मीद है। जमुई, सहरसा, कटिहार के आसपास के जिलों में सर्वाधिक बारिश रिकॉर्ड की गई।

 

पटना मौसम विज्ञान केंद्र के निदेशक शुभेंदु सेनगुप्ता ने बताया कि बुधवार को जमुई के सोनो में सर्वाधिक बारिश हुई। वहां 140 मिलीमीटर बारिश हुई। इसके अलावा सहरसा के सिमरी, कटिहार के कुरसेला एवं मनिहारी, समस्तीपुर के पूसा में 90 मिलीमीटर से अधिक बारिश हुई। गया में बुधवार को 0.2, भागलपुर में 2 एवं पूर्णिया में 10 मिलीमीटर बारिश रिकॉर्ड की गई।
लगातार हो रही बारिश के कारण बिहार की नदियों के जलस्तर में उतार-चढ़ाव जारी है। सुपौल में तटबंध के 12 बिंदुओं पर कोसी का दबाव बरकरार है। वहीं सहरसा में कोसी नदी में डूबकर बुधवार को एक वृद्ध की मौत हो गई। खगडिय़ा में नदियों के जलस्तर में बढ़ोतरी जारी है। यहां कोसी अभी भी खतरे के निशान से ऊपर बह रही है।
मुंगेर में गंगा नदी का जलस्तर 34.66 मीटर दर्ज किया गया है। 2.5 सेमी प्रति घंटे की रफ्तार से इसके जलस्तर में बढ़ोतरी हो रही है। इस कारण कई इलाकों में बाढ़ का खतरा गहराता जा रहा है। सुपौल में कोसी के जलस्तर में उतार-चढ़ाव जारी है।
सहरसा जिले के महिषी में नहर टूटने से महिषी सहित कई गांवों में पानी घुस गया है। यहां के प्रसिद्ध उग्रतारा मंदिर में जलजमाव की समस्या बरकरार है। यहां अल सुबह कोसी नदी में डूबने से सत्तौर निवासी महेश्वरी यादव (60) की मौत हो गई। गंडक नदी के जलस्तर में कमी आई।

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