विद्युत आपूर्ति निर्बाध रूप से जारी रखने के लिए विद्युत विभाग के निरंतर बढ़ रहे कदम में एक और कड़ी जुड़ गई है। अब बक्सर ग्रिड (इटाढ़ी) को डुमरांव न्यू (ब्रह्मपुर) विद्युत ग्रिड उपकेंद्र से जोड़ दिया गया है। इस व्यवस्था से जुडऩे के बाद बक्सर ग्रिड को बिजली आपूर्ति करने के लिए अलग-अलग कुल चार ट्रांसमिशन लाइन सर्किट तैयार हो गया है। अब डुमरांव पुराने ग्रिड से और अब दो डुमरांव न्यू ग्रिड से (ब्रह्मपुर) संचरण लाइन दौड़ाई गई है। इसका लाभ अब यह होगा कि ग्रिड में आपूर्ति करने वाले किसी भी एक संचरण (ट्रांसमिशन) लाइन में दोष आने पर तुरंत ही दूसरे से बक्सर ग्रिड उपकेंद्र को बिजली की आपूर्ति शुरू कर दी जाएगी।
फिलहाल, बक्सर ग्रिड (इटाढ़ी) को डुमरांव ओल्ड ग्रिड उप केंद्र से दो सर्किट के माध्यम से बिजली की आपूर्ति कराई जाती है,। अब दो अन्य सर्किट बने डुमरांव न्यू (ब्रह्मपुर) विद्युत उपकेंद्र से बक्सर ग्रिड को सीधे सोमवार की सुबह 10.35 बजे से बिजली आपूर्ति शुरू कर दी गई है। ग्रिड अधिकारी अभिषेक कुमार व सहायक नियंत्रक रामभवन राय ने बताया कि इस व्यवस्था के बाद से अन्य तीन सर्किट वैकल्पिक रूप से सेवा में बने रहेंगे। आरा विद्युत संचरण प्रमंडल के कार्यपालक अभियंता अरुण कुमार ने बताया कि बक्सर ग्रिड के लिए 1 लाख 32 हजार के चार सर्किट हो जाने से बिजली बाधित (लाइन ब्रेकडाउन होने की स्थिति में) होने की समस्या नहीं रहेगी।
संचरण प्रमंडल, आरा के कार्यपालक अभियंता अरुण कुमार ने बताया कि बक्सर ग्रिड (इटाढ़ी) एवं डुमरांव ओल्ड ग्रिड की पावर क्षमता को भी बढ़ाया जाएगा। फिलहाल, बक्सर ग्रिड की 50-50-20 एमवीए के तीन पावर ट्रांसफार्मरों के जरिए अधिकतम 96 मेगावाट लोड सहने की क्षमता है, लेकिन, जल्द ही 20 एमवीए को बदलकर 50 का लगा दिया जाएगा। वहीं, डुमरांव ओल्ड में 50-50 एमवीए के लगे दो पावर ट्रांसफार्मर में से एक को जल्द ही बदलकर उसकी जगह 80 एमवीए का लगा दिया जाएगा। जिससे इस ग्रिड से बिजली आपूर्ति करने की पावर क्षमता बढ़कर 130 एमवीए की हो जाएगी। जिस पर आसानी से सौ मेगावाट तक की बिजली आपूर्ति हो सकेगी।
नई तकनीकी जीआइएस (गैस इंसुलेटेड सर्विस स्टेशन) से जिले में बने डुमरांव न्यू (ब्रह्मपुर) ग्रिड से अभी तीन ग्रिड उपकेंद्र (132/33) जगदीशपुर, डुमरांव एवं बक्सर को बिजली आपूर्ति कराई जा रही है, लेकिन आवश्यकता पडऩे पर इससे आरा, विक्रमगंज, पियरो सहित कोचस को भी बिजली, इस संचरण लाइन के रास्ते मुहैया कराई जा सकती है। अधिकारी ने बताया कि इस उच्च शक्ति ग्रिड को पावर जेनरेशन प्लांट (एसजेवीएन) चौसा से जोडऩे की तैयारी भी जोर-शोर से शुरू है। वर्तमान में ब्रह्मपुर क्षेत्र में बने डुमरांव न्यू नामक ग्रिड उपकेंद्र की पावर क्षमता 160 मेगावाट की है। परंतु, जल्द ही 160 एमवीए क्षमता वाला एक और पावर ट्रांसफार्मर लगने वाला है।