मर्यादा पुरुषोत्तम श्रीराम की जन्मस्थली अयोध्या श्रीराम मंदिर बनाने को लेकर बराबर राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर चर्चा में रहती है लेकिन उनको मर्यादा पुरुषोत्तम बनाने में अपना सर्वस्व न्योछावर करनेवाली उनकी अनुगामिनी माता सीता की प्राकट्यस्थली ‘सीतामढ़ी’ को राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर महत्व नहीं मिल पाया है।
आइए, हम जानें वैशाख नवमी (4 मई) के दिन मां जानकी सीतामढ़ी की धरती पर कैसे प्रकट हुईं थीं। आज भी यहां के लोग इस धरती पर मां सीता के जन्मदिन पर सप्ताहभर का कार्यक्रम आयोजित करते हैं। यहां देश-विदेश से संतों का भी आगमन होता है। जिला प्रशासन की ओर से भी यहां सीतामढ़ी महोत्सव आयोजित होता है।