आज वासंतिक नवरात्र की अष्टमी पर माता के दर्शन के लिए आस्था का जनसैलाब उमड़ पड़ा। सप्तमी की विधिवत पूजा के बाद सोमवार को मां दुर्गा के पट खुलते ही माँ के दर्शन के लिए भक्तों की भीड़ उमड़ पड़ी। आज माता के अष्टम रूप की पूजा हो रही है।
चैती छठ के समापन के बाद सप्तमी की विधिवत पूजा के बाद मंदिरों और पंडालों में मां दुर्गा के पट खुल गए। मां दुर्गा का पट खुलते ही बिहार के विभिन्न देवी मंदिरों में दर्शन के लिए भक्तों का तांता लग गया । राजधानी में नवरात्र की विशेष पूजा-अर्चना और रामनवमी की तैयारी में व्यस्त लोग आस्था में पूरी तरह डूब गए हैं।
अदरख घाट स्थित पूजा पंडाल में कोलकाता से धुनची नृतकों की टोली ने माता की प्रतिमा के सामने दोनों हाथों में मिट्टी का पात्र लिए झूमते-नाचते हुए मां की आरती कर समां बाँध दिया। मिट्टी पात्र में नारियल का छिलका के साथ वातावरण को सुगंधित करने के लिए कई अन्य चीजें डालकर जलाई जाती हैं। कोलकाता से आए ढाक कलाकार मग्न होकर ढाक बजाते और माता की जयकार कर रहे। लाल पाढ़ की साड़ी पहने महिलाएं माता की प्रतिमा के सामने सिर झुकाकर सुख-संपत्ति और शांति का वरदान मांग रही हैं।
गड़हा स्थित बड़ी पटनदेवी, शक्तिपीठ छोटी पटनदेवी, अगमकुआं शीतला माता मंदिर, दुर्गा मंदिर गायघाट, ट्रांसपोर्ट नगर स्थित मां दुर्गा मंदिर, कदमकुंआ देवी मंदिर, काली मंदिर मंगल तालाब व खाजेकलां और गुलजारबाग स्थित सर्व मंगला देवी मंदिर के साथ अन्य देवी मंदिरों में भक्तों ने माँ के खूब जयकारे लगाए। मंदिरों में कहीं गायत्री मंत्र तो कहीं दुर्गा सप्तसती के पाठ गूंज रहे हैं।