कल दीपावली के साथ नरक निवारण चतुर्दशी भी है. इस दिन का सनातन धर्म में काफी खास महत्व है. कहां जाता है कि नरक निवारण चतुर्दशी करने से नरक में जगह नहीं मिलती है. इस दिन भगवान हनुमान का जन्म हुआ था. इस दिन भगवान हनुमान का जन्मोत्सव भी मनाया जाता है. पंडित हरिहर नाथ झा से बात की गई तो उन्होंने बताया कि चतुर्दशी के साथ-साथ नरक चतुर्दशी का भी खास महत्व है. इस दिन भगवान विष्णु की पूजा की जाती है. उन्होंने बताया कि इसी दिन भगवान हनुमान का जन्म हुआ था, इसलिए हनुमान जन्मोत्सव भी मनाया जाता है. आइए जानते हैं नरक निवारण चतुर्दशी करने से क्या-क्या फायदे होते हैं.

पंडित हरिहर नाथ झाने बताया कि नरक चतुर्दशी को लोग खराब मानते हैं, लेकिन इसका सकारात्मक फल मिलता है. ये चतुर्दशी नरक से मुक्ति पाने के लिए की जाती है. इसलिए इस चतुर्दशी को करने से हानि नहीं होती है. उन्होंने बताया कि इस दिन लोग भगवान विष्णु की पूजा करते हैं, लेकिन इसके साथ साथ हनुमान जी भी आराधना की जाती है. उन्होंने बताया कि इस दिन व्रत रखने वाले व्रतियों के सभी पाप मिट जाते हैं. इस दिन निराहार रहकर शाम में व्रत का पारण किया जाता है.
होना चाहते हैं पाप मुक्त तो करें यह
पंडित जी ने कहा कि अगर आप इसको करते हैं तो आपके सारे पाप मुक्त हो जाएंगे. नरक चतुर्दशी के दिन अगर आप 14 दीये जलाते हैं तो आपको अच्छा फल प्राप्त होगा. इस दिन एक दीया सरसों के तेल में शाम के समय जलाना चाहिए. इस दिन लोग चौमुखी दीप भी जलाते हैं. खास कर सरसों तेल में दीप जलाने का महत्व ही अलग है. इसका अच्छा लाभ मिलता है.