2017 से 2022 तक कॉलेज के प्राचार्य रहे प्रो. एसपी शाही ने नैक के लिए कॉलेज में कई तरह के सुधार कार्य किये जिसका परिणाम ‘ए प्लस’ ग्रेड के रूप में आया है. उनके बाद वर्तमान प्राचार्य डॉ. प्रवीण कुमार ने भी इस ग्रेड को बनाए रखने और इसमें बढ़ोतरी के कई प्रयास किए. इन्होंने बताया कि टीचर स्टूडेंट के अनुपात में हम पिछड़ जाते हैं क्योंकि हमारे पास 153 शिक्षकों के पद हैं जबकि शिक्षक मात्र 73 हैं. इसी वजह से हमारा अनुपात समान्य से बहुत कम है. इसमें हमारे अंक कट जाते हैं. अन्यथा यह ग्रेड A+ की जगह A++ होता. कॉलेज का इंफ्रास्ट्रक्चर को बेहतर है , परीक्षा भवन, नया अत्याधुनिक सभागार, ई-लाइब्रेरी, कल्चर एक्टिविटी, सेमिनार, रिसर्च वर्क आदि सुविधाएं अच्छी है. क्या होगा फायदा नैक से ए ग्रेड या बी ग्रेड प्राप्त कॉलेजों को विकास के लिए राशि मिलती है. कॉलेज की ओर से यूजीसी को प्रपोजल बनाकर देना होता है, उसी हिसाब से ग्रांट दिया जाता है. अब एन कॉलेज को भी यूजीसी की तरफ से मिलने वाली अनुदान राशि बढ़ जाएगी और कॉलेज में हो रहे विकास में बढ़ावा मिलेगा. किसी कॉलेज में छात्रों के चौतरफा विकास होने पर बेहतर ग्रेड मिलता है. इनके अलावा कॉलेज में पिछले पांच साल में प्लेसमेंट, सांस्कृतिक कार्यक्रम, खेलकूद, एनएसएस समेत छात्रों के ओवरऑल परफॉर्मेंस को भी परखा जाता है. इन चीजों को परखने के लिए टीम आती है और उसी हिसाब से ग्रेडिंग देती है.

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आदिवासियों की बुद्धिमता को लेकर जामताड़ा विधायक डॉ. इरफान अंसारी ने विधानसभा के पटल पर टिप्पणी की थी। इस टिप्पणी को सांसद सुनील सोरेन ने अमर्यादित और अशोभनीय करार दिया है।

इस संबंध में उन्होंने विधानसभा अध्यक्ष रवींद्रनाथ महतो से स्वयं संज्ञान लेकर जामताड़ा विधायक के खिलाफ एसटी-एससी (अत्याचार निरोधक) अधिनियम के तहत मामला दर्ज कराने की मांग की है।

सांसद सुनील सोरेन ने क्या कहा?

सांसद सुनील सोरेन ने कहा अगर कोई सदन के पटल पर यह सवाल करता है कि आदिवासी इतने तेज कैसे हो गए हैं तो यह उस व्यक्ति की ओछी मानसिकता को दर्शाता है। जामताड़ा विधायक के इस बयान से आदिवासी समाज मर्माहत है और उनके अंदर आक्रोश पनप रहा है। इस मामले का पटाक्षेप स्वयं विधानसभा अध्यक्ष को करना चाहिए।

जामताड़ा विधायक ने कैसे हिंदुओं की भावनाओं को पहुंचाई ठेस?

सांसद ने कहा कि पिछले दिनों नारायणपुर प्रखंड के कोल्हर गांव में गौ हत्या करने वाले आरोपितों के बचाव को लेकर विधायक डॉ. इरफान अंसारी ने विधानसभा में झूठी दलील पेश की थी। वह जामताड़ा विधानसभा क्षेत्र में अशांति फैलाने वाले तत्वों के समर्थन में नजर आते हैं, जिसकी उच्चस्तरीय जांच कराने की जरूरत है।

हाल ही में जामताड़ा के एक मंदिर में उन्हें टीका लगाया गया था और उन्होंने तुरंत टीका पोंछ कर हिंदुओं की भावनाओं को ठेस पहुंचाने का काम किया था। सांसद ने कहा जामताड़ा विधायक पर विधिसम्मत कारवाई की जानी चाहिए।

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