मधुबनी से अपहरण की गई बारह वर्षीय नैंसी नहीं रही। कुछ दरिन्दों ने उसे मारा डाला। त्वरित कार्रवाई करते हुए पुलिस ने दोनों आरोपी को गिरफ्तार कर लिया है।
लेकिन क्या इससे नैंसी को इंसाफ मिल जाएगा। यहीं सवाल इन दिनों सोशल मीडिया पर प्रशासन और नीतीश सरकार से पूछा जा रहा है। लोग इस घटना के बाद नीतीश सरकार पर प्रश्न चिह्न लगा रहे हैं। साथ ही कह रह हैं कि बिहार में जंगलराज वापस लौट आया है।
स्थानीय लोगों की माने तों बारह वर्षीय नैंसी के साथ रेप भी किया गया है। हालांकि इस बात की पुष्टि पोस्टमार्टम जांच के बाद ही हो पाएगी। बताते चले कि महादेवमठ गाँव के रवीन्द्रनारायण झा की बेटी थी। 25 मई की शाम को गायब हो गई, और दो दिन बाद जब मिली तो नैन्सी के शव को काट-काट कर क्षत-विक्षत कर दिया गया था।
प्रशासन के साथ-साथ मीडिया पर उठ रहे सवाल..
इस घटना के बाद जहां एक ओर लोग आक्रोशित हैं तो दूसरी ओर जिला प्रशासन के साथ साथ स्थानीय मीडिया पर भी सवाल उठाया जा रहा है। लोगों का आरोप है कि इस मामले में आरोपियों को बचाने का प्रयास किया जा रहा है।
एक पाठक ने वरिष्ठ पत्रकार रविश कुमार को पत्र लिखते हुए कहा है कि इस बिकती हुई पत्रकारिता और न्यूज कवरेज के दौर में केवल आपसे एक उम्मीद है! आप न्याय तो नहीं दे सकते हैं लेकिन आप समाज और सरकार को एक आईना जरूर दिखा सकते हैं!
बिहार के मधुबनी जिला में 25 मई को एक 12 वर्ष की नाबलिग बच्ची का अपहरण होता है, पीड़ित परिवार पुलिस में इसबात को लेकर कंप्लेन करती है और दो लोगों का शक के आधार पर नाम भी देती है! एक छोटे से गांव में गांव के ही बच्ची का अपने ही समाज के लोग किडनैप करते है, पुलिस 5-7 हजार की आबादी वाले गांव में 3 दिनों में एक बच्ची को नही खोज पाती है और उल्टा पीड़ित परिवार को टॉर्चर करती है! 28 के अहले सुबह उस बच्ची की तेजाब से जली हुई लाश गांव के ही किसी खेत में मिलती है!