इस साल 9 से 25 सितंबर तक पितृपक्ष मेला, विश्वप्रसिद्ध मेले पर लगा था ‘कोरोना’ का ग्रहण

आस्था खबरें बिहार की जानकारी

इस साल गया में नौ से 25 सितंबर तक पितृपक्ष मेला आयाजित किया जाएगा। कोरोना काल के कारण दो साल इसका विधिवत आयोजन नहीं हुआ था। यही कारण है कि इस बार पिछले सालों के मुकाबले ज्यादा पिंडदानियों के पहुंचने की संभावना है।

सामान्य तौर पर गया में छह लाख पिंडदानी पहुंचते हैं। इतनी बड़ी संख्या में पहुंचने वाले पिंडदानियों को बेहतर सुविधा प्रदान करने के लिए दो महीने पहले से तैयारी शुरू की गई है। मंगलवार को डीएम डॉ. त्यागराजन ने कलेक्ट्रेट में नोडल पदाधिकारी, संवाद समिति के सदस्य, विष्णुपद प्रबंधकारिणी के सदस्य, पंडा समाज के सदस्य और जिले के गणमान्य समाजसेवियों के साथ बैठक की।

16 कोषांगों का गठन

तीर्थ यात्रियों की सुविधा के लिए 16 कार्यसमिति कोषांगों का गठन किया गया है। पिंडदानियों के ठहरने की व्यवस्था करने के लिए डीडीसी विनोद दुहन को जिम्मेदारी दी गई है। भवन की हालत, बिजली कनेक्शन, पेयजल, साफ-सफाई की व्यवस्था आदि देखना है। नगर आयुक्त को सभी सरकारी, गैर सरकारी, आवासन स्थल, पुलिस शिवर, मेला क्षेत्र में डस्टबिन की व्यवस्था करने और तीन शिफ्ट में सफाई कर्मचारियों को लगाने का निर्देश दिया गया। साथ ही जहां भी स्ट्रीट लाइट खराब है उसे ठीक कराने का निर्देश अधिकारियों को दिया गया। सभी 16 कोषांगों के अधिकारियों को अपने क्षेत्र में पहले ही इंतजाम करने को कहा गया।

यातायात व्यवस्था के लिए ब्लूप्रिंट तैयार करें

डीएम ने यातायात व्यवस्था सही रखने के लिए ब्लूप्रिंग तैयार करने का निर्देश दिया। इसके लिए ट्रैफिक डीएसपी और सदर एसडीओ को समन्वय स्थापित यातायात व्यवस्था सुचारू बनाए रखने की जिम्मेवारी दी गई।

छह लाख से ज्यादा लोगों के आने की उम्मीद

सामान्य तौर पर गया में पितृपक्ष के दौरान छह लाख पिंडदानी आते हैं। इस बार दो साल बाद पितृपक्ष मेला का विधिवत आयोजन होगा। ऐसे में पिंडदानियों की संख्या इससे कहीं ज्यादा होने की उम्मीद है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *